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सरकार का इंडिगो पर कड़ा एक्शन; एयरलाइन की उड़ानों में 10% की कटौती, इंडिगो का दावा पूरी नेटवर्क सेवा बहाल

संवाददाता

नई दिल्ली । नागरिक उड्डयन मंत्रालय ने इंडिगो एयरलाइन की उड़ानों में 10% कटौती करने का कड़ा निर्देश दिया है। पिछले हफ्ते क्रू रोस्टर, फ्लाइट शेड्यूल और संचार की कमी जैसे आंतरिक कुप्रबंधन के कारण यात्रियों को हुई भारी असुविधा को देखते हुए यह फैसला लिया गया है। मंत्रालय का मानना है कि एयरलाइन के संचालन को स्थिर करने और रद्दीकरण की घटनाओं को कम करने के लिए यह कटौती जरूरी है। हालांकि, इस कटौती के बावजूद इंडिगो अपने सभी मौजूदा गंतव्यों पर उड़ानें जारी रखेगी। दूसरी तरफ इंडिगो ने दावा किया है कि कई दिनों की बाधाओं के बाद एयरलाइन अब अपने पूरे नेटवर्क पर 1,800 से ज्यादा उड़ानें चला रही है। एयरलाइन ने बताया कि उसके ऑपरेशन स्थिर हो चुके हैं और समयपालन प्रदर्शन 91% तक पहुंच गया है।

इंडिगो के सीईओ पीटर एल्बर्स को मंगलवार को विमानन मं मंत्रालय में तलब किया गया, जहां उन्होंने हालात को स्थिर करने के लिए किए जा रहे उपायों पर अपडेट दिया। सीईओ ने पुष्टि की है कि 6 दिसंबर तक प्रभावित उड़ानों के लिए 100% रिफंड की प्रक्रिया पूरी कर ली गई है। मंत्रालय ने शेष रिफंड और यात्रियों के फंसे हुए सामान को जल्द से जल्द सौंपने के सख्त निर्देश दिए हैं। इंडिगो को किराया सीमा और यात्री सुविधा उपायों सहित मंत्रालय के सभी निर्देशों का बिना किसी अपवाद के पालन करने को कहा गया है।

मंजूर उड़ानों के मुकाबले कम संचालन

डीजीसीए की ओर इंडिगो को जारी आधिकारिक नोटिस में कहा गया है कि विंटर शेड्यूल के तहत नवंबर 2025 के लिए एयरलाइन को प्रति सप्ताह 15,014 प्रस्थान और कुल 64,346 उड़ानों की मंजूरी दी गई थी। हालांकि, परिचालन आंकड़ों से पता चलता है कि इंडिगो केवल 59,438 उड़ानें ही संचालित कर पाई। नवंबर में एयरलाइन की 951 उड़ानें रद्द की गईं।

नोटिस के अनुसार, इंडिगो को समर शेड्यूल 2025 की तुलना में विंटर शेड्यूल में 6% के इजाफे की अनुमति दी गई थी, इसके तहत 403 विमानों के उपयोग की मंजूरी थी। लेकिन एयरलाइन अक्तूबर 2025 में केवल 339 और नवंबर 2025 में 344 विमान ही संचालित कर सकी।

डीजीसीए ने कहा कि एयरलाइन ने 2024 की सर्दियों की तुलना में अपने प्रस्थान में 9.66% और इस वर्ष के गर्मियों के शेड्यूल की तुलना में 6.05% की वृद्धि की थी, लेकिन वह इस शेड्यूल का कुशलतापूर्वक संचालन नहीं कर सकी।

क्या है डीजीसीए का निर्देश?

डीजीसीए ने अपने आदेश में कहा, “एयरलाइन को अपने शेड्यूल को 5% तक घटाने का निर्देश दिया जाता है, यह कटौती विशेष रूप से अधिक मांग और अधिक फेरों वाले उड़ानों में हो। साथ ही, इंडिगो को किसी रूट पर जारी एकल उड़ानों को बंद करने से बचना चाहिए।”

इंडिगो सीईओ बोले- हम संकट के बाद फिर अपने पैरों पर खड़ा हो रहे

उधर, इंडिगो के सीईओ पीटर एल्बर्स ने कहा कि आपका एयरलाइन संकट के दौर के बाद एक बार फिर अपने पैरों पर खड़ा हो गया है। इंडिगो सीईओ ने वीडियो के जरिए बयान जारी कर कहा, “हम परेशानियों से गुजरे, यात्रियों को परेशानी हुई। इसके लिए हम माफी चाहते हैं। हवाई यात्रा की खुबसूरती यह है कि यह लोगों को, इमोशन और एंबीशन को साथ लाती है। हम जानते हैं कि आप अलग-अलग कारणों से यात्रा करने वाले थे, पर आप से हजारों ऐसा नहीं कर पाए। हम इसके लिए हृदय से क्षमाप्रार्थी हैं।

हम उड़ानों को रद्द करना नहीं टाल पाए। पर हम आपको आश्वस्त करना चाहते हैं कि हमारी पूरी इंडिगो टीम कड़ी मेहनत कर रही है। सबसे पहले हमारी प्राथमिकता हमारे मूल्यवान ग्राहकों को सुरक्षित तरीके से उन्हें उनके घर पहुंचना है। बड़े पैमाने पर रिफंड जारी किए जा रहे हैं। यह रोजना किया जा रहा है। हवाई अड्डों पर फंसे अधिकतर लगेज यात्रियों के घर पहुंचाए जा रहे हैं। बचे हुए बैग्स भी जल्द ही ग्राहकों के घर तक पहुंचाने की प्रक्रिया जारी है।

हम एक ग्राहक के तौर पर आपकी जरूरतों को पूरा करने के लिए पूरी तरह प्रतिबद्ध हैं। लोग संकट के बाद भी हमारी सेवाओं पर भरोसा कर रहे हैं, और फ्लाइट बुक कर रहे हैं। यह हमारे लिए उत्साहवर्धक है। हमने गलतियों से सीखा है और ऐसी स्थिति क्यों बनी, इसका पूरा अध्ययन कर रहे हैं। हम सरकार के साथ भी पूरा सहयोग कर रहे हैं। हमारी क्षमा स्वीकारने और इस कठिन समय में हमारे समर्थन के लिए आप सबका धन्यवाद।”

कितनी बड़ी एयरलाइन है इंडिगो?

संकट की गहराई को समझने के लिए इंडिगो के विशाल आकार के बारे में जानना जरूरी है। यह महज एक एयरलाइन नहीं, बल्कि भारतीय एविएशन की रीढ़ है। एयरलाइन के पास 434 विमानों का बेड़ा है। इसने 920 से अधिक नए विमानों का ऑर्डर भी दे रखा है। इंडिगो हर दिन 2,200 से अधिक उड़ानें संचालित करती है। 3.2 लाख से अधिक यात्रियों को हवाई सफर करवाती है। यह 128 गंतव्यों के लिए अपनी सेवाएं देती है।

60% रूट पर इंडिगो की ‘मोनोपोली’

देश में पिछले एक हफ्ते से इंडिगो (IndiGo) की बड़ी संख्या में फ्लाइट्स कैंसिल होने से हवाई सफर पूरी तरह गड़बड़ा गया है। इसकी सबसे बड़ी वजह भारतीय एविएशन सेक्टर पर इंडिगो का दबदबा माना जा रहा है। देश में उड़ने वाले हर 10 यात्रियों में से 6 इंडिगो से सफर करते हैं। भारत में कुल लगभग 1,200 घरेलू रूट हैं और इनमें से 950 से ज्यादा पर इंडिगो उड़ान भरता है। चौंकाने वाली बात यह है कि इनमें से करीब 600 रूट (60% से ज्यादा) ऐसे हैं जहां इंडिगो का पूरी तरह एकाधिकार यानी (Monopoly) है यानी यहां सिर्फ वही एयरलाइन चलती है।

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