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आतंकी साजिश मामले में एनआईए की तीन राज्यों में 18 ठिकानों पर छापेमारी

एनआईए आतंकवाद के खिलाफ सख्त कदम उठा रही है. इसी सिलसिले में आज तीन राज्यों में 18 ठिकानों पर कार्रवाई की

संवाददाता

नई दिल्ली। राष्ट्रीय जांच एजेंसी ने गुरुवार को एक आतंकी साजिश के मामले में पंजाब, हरियाणा और उत्तर प्रदेश भर में 18 स्थानों पर छापेमारी की. पंजाब में संदिग्धों के नौ ठिकानों पर सुबह में छापे मारे गए. हरियाणा में सात और उत्तर प्रदेश में दो स्थानों पर कार्रवाई की गई.

एनआईए की टीम ने राज्य पुलिस बलों द्वारा प्राप्त स्पेशल इनपुट के आधार पर कार्रवाई की. छापेमारी के दौरान राज्य पुलिस बल की ओर से मदद की गई. एनआईए ने पंजाब में पूर्व में आतंकवादी नेटवर्क के संबंध में छापेमारी की. ये कथित तौर पर भारत और विदेशों में काम करने वाले खालिस्तानी समूहों और अन्य राष्ट्र-विरोधी तत्वों से जुड़े हैं.

आतंकवाद-रोधी एजेंसी लक्षित हत्याओं, जबरन वसूली और तस्करी के माध्यम से पंजाब में आतंकवाद को पुनर्जीवित करने के प्रयासों से जुड़ी एक बड़ी साजिश की जांच कर रही है. इससे पहले 22 जून को राष्ट्रीय जांच एजेंसी ने पंजाब आतंकी साजिश के मामले बबबर खालसा इंटरनेशनल (बीकेएल) के आतंकवादी लखबीर सिंह के खिलाफ आरोप पत्र दायर किया. उसे लैंडा के रूप में भी जाना जाता है. वह बटाला पावितार में एक खतरनाक गैंगस्टर है.

राष्ट्रीय जांच एजेंसी ने पंजाब के गुरदासपुर जिले से जेटिंदर सिंह उर्फ ​​जोती को 23 दिसंबर, 2024 को मुंबई से गिरफ्तार किया गया था. राष्ट्रीय जांच एजेंसी ने जांच के दौरान पाया कि जतिंदर मध्य प्रदेश से लेकर पंजाब स्थित गैंगस्टरों तक अवैध खरीद और हथियारों की आपूर्ति में शामिल था.

वह आतंकवादी लाखबीर सिंह उर्फ ​​लांडा के एक करीबी सहयोगी बटाला के जमीन संचालकों को हथियारों की आपूर्ति में मदद कर रहा था. बटाला के विदेशी में रहने वाले सहयोगी भारत में जतिंदर के ऑपरेशन का कॉर्डिनेशन कर रहे थे. बीकेआई की आपराधिक-आतंकवादी गतिविधियों को बढ़ावा देने के लिए पंजाब में बटाला के संचालकों द्वारा हथियारों का इस्तेमाल किया जा रहा था.

एनआईए की जांच के दौरान यह पाया गया कि जतिंदर मध्य प्रदेश के एक ज्ञात हथियार आपूर्तिकर्ता, बालजीत सिंह उर्फ ​​राणा भाई से अवैध हथियार खरीदने के लिए इस्तेमाल करते थे. बालजीत को पहले ही गिरफ्तार कर लिया गया था और एनआईए द्वारा चार्जशीट किया गया था.

अभियुक्त द्वारा पता लगाने से बचने के लिए वर्चुअल नंबरों और एन्क्रिप्ट किए गए एप्लिकेशन का उपयोग कर रहे थे. लांडा की भूमिका के साथ-साथ नामित आतंकवादी हरविंदर सिंह उर्फ ​​रंडा और साजिश में उनके विदेशी-आधारित साथी की जांच कर रही है.

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